विजय कुमार
Blood Donation Camp at New Delhi
दिल्ली, 20 सितंबर। सद्गुरु माता सुदीक्षा जी महाराज के पावन आशीर्वाद से 20 सितम्बर, 2020 को नई दिल्ली के संत निरंकारी संत्संग भवन पालम में एक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया, जहाँ संत निरंकारी मिशन के 56 स्वयंसेवकों ने अपना रक्तदान किया। इंडियन रेड क्रॉस सोसाइटी, दिल्ली से विशेष 7 सदस्यीय रक्त एकत्र करने वाली टीमें आईं। हालांकि 100 से अधिक भक्तों ने रक्तदान करने के लिए खुद को पंजीकृत किया, लेकिन टीमें उन सभी को उपकृत नहीं कर सकीं।
शिविर का उद्घाटन स्थानीय विधायक भूपिंदर सिंह ने किया। मुख्य अतिथि का फूलों के गुलदस्ते के साथ स्वागत किया गया और उन्होंने रिबन काटकर शिविर का उद्घाटन किया। फिर, उन्होंने शिविर का चक्कर लगाया और रक्तदान करने वाले लोगों को प्रोत्साहित किया।
आभार व्यक्त करते हुए स्थानीय संयोजक राम शरण ने कहा कि मिशन के भक्तों के लिए रक्त का दान पहले से ही भक्ति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन गया है। वे बाबा हरदेव सिंह जी महाराज के शब्दों से निर्देशित करते हैं कि ‘‘रक्त नसों में बहना चाहिए न कि नालियों में‘‘। उन्होंने भक्तों का आह्वान किया कि वे निस्वार्थ भाव से समुदाय की सेवा करते रहें। उन्होंने फाउंडेशन द्वारा समुदाय की सेवा के लिए की गई अन्य गतिविधियों के बारे में भी बताया।
मिशन के द्वारा प्रथम रक्तदान शिविर का आयोजन दिल्ली में वर्ष 1986 के नवम्बर माह में वार्षिक निरंकारी संत समागम के अवसर पर किया गया। सद्गुरु बाबा हरदेव सिंह जी महाराज ने स्वयं रक्तदान करके इस शिविर का उद्घाटन किया और कहा कि ‘रक्त नालियों में नहीं नाड़ियों में बहना चाहिए।’
इन शिविरों में भक्तों के इस उत्साह को देखते हुये इंडियन रेड क्राॅस सोसायटी ने 1997 में बाबा हरदेव सिंह जी महाराज से आग्रह किया कि रक्तदान शिविरों का आयोजन माह सितम्बर के अंत तक बढ़ा दिया जाये क्योंकि इन महीनों में गर्मी के कारण देश की लगभग सभी ब्लड बैंकों में रक्त की कमी हो जाती है। बाबा जी ने इस प्रस्ताव को स्वीकर किया और मिशन के द्वारा 24 अप्रैल, 1997 से आरम्भ होकर यह रक्तदान शिविर सितम्बर के अंत तक आयोजित किए जाने लगे।
वर्ष 1986 से लेकर अब तक मिशन के द्वारा 6,400 रक्तदान शिविर आयोजित किये जा चुके हैं जिनमें 11,09,535 यूनिट रक्तदान किया गया। मिशन का अपना एक ब्लड बैंक है जिसका उद्घाटन बाबा हरदेव सिंह जी महाराज ने गणतंत्र दिवस 26 जनवरी 2016 को विले पार्ले मुम्बई में किया।
आज मिशन दिल्ली, कोलकाता, चेन्नई तथा आगरा में 4 अस्पताल तथा देशभर में 131 डिस्पैंसरियां धर्मार्थ रूप में चला रहा है, जहां प्रतिवर्ष 20 लाख से भी अधिक मरीजों का इलाज किया जाता है। मिशन की ओर से 9 पेथाॅलोजी लेबोरेट्री, 6 दाँतों के लिए तथा 5 आंखों के इलाज के लिए केन्द्र भी धर्मार्थ चलाए जा रहे है ।